सामूहिक विवाह संस्कार — समरसता और संस्कृति का उत्सव

बाबा महाकाल और भगवान श्री गोपाल कृष्ण की कृपा तथा पूज्य माताजी-पिताजी के आशीर्वाद से सुपुत्र डॉ. अभिमन्यु और सौभाग्यवती डॉ. ईशिता सहित कुल 21 नवयुगल सामूहिक विवाह संस्कार के पावन बंधन में आवद्ध हुए।
सनातन संस्कृति, सामाजिक समरसता और समानता को साकार करते इस मांगलिक अवसर पर आप सभी ने नवदम्पतियों को स्नेह, आशीर्वाद और शुभकामनाएँ प्रदान कर समारोह की गरिमा बढ़ाई। सभी परिजनों की ओर से हार्दिक कृतज्ञता।